JEE MAIN का रिजल्‍ट जारी, पटना के ‘अभयानंद सुपर 30’ इतने बच्चों ने मारी बाजी

सीबीएसई ने गुरुवार को IIT, JEE मेन का रिजल्ट घोषित कर दिया है।

IIT,JEE 10 लाख से ज्यादा स्टूडेंट्स ने हिस्सा लिया था। पेन-पेपर बेस्ड मेन एग्जाम 2 अप्रैल को जबकि कंप्यूटर बेस्ड एग्जाम 8 और 9 अप्रैल को हुई थी।

– एग्जाम में 10 लाख से ज्यादा स्टूडेंट्स ने भाग लिया था। CBSE ने गुरूवार को इसका रिजल्ट घोषित कर दिया है।

– रिजल्ट जेईई की आधिकारिक वेबसाइट http://cbseresults.nic.in/ पर देखा जा सकता है।

 

पटना के अभयानंद सुपर-30 के 22 छात्रों में से 20 छात्र सफल घोषित किए गए हैं। इनमें 296 अंक लाकर ऋषभ संस्थान का टॉपर बना है। मेंटर अभयानंद ने सभी सफल छात्रों को बधाई दी।

जेईई मेन के ऑल इंडिया रैंक के आधार पर राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान (एनआइटी) सहित देश के अधिसंख्य नामचीन इंजीनियरिंग कॉलेजों में दाखिला होगा। साथ ही आगे की एडवांस्ड परीक्षा में शामिल होने के लिए 28 अप्रैल को सुबह 10 बजे से रजिस्ट्रेशन शुरू हो जाएगा।

दो मई को संध्या पांच बजे तक बिना विलंब शुल्क के साथ रजिस्ट्रेशन स्वीकार किया जाएगा। विलंब शुल्क के साथ चार मई को शाम पांच बजे तक अभ्यर्थी रजिस्ट्रेशन कर सकते हैं। जेईई एडवांस्ड की परीक्षा 21 मई को दो पालियों में आयोजित की जाएगी।

नये बिहार के हीरो: इनके कदमों के सहारे बिहार चल पड़ा है विश्वगुरु होने की राह पर

गुरु जौहरी की तरह होता है जो कोयले से हीरे को तराश लेता है। गुरु अगर चाहे तो साधारण इंसान को भी महान बना दे। बिहार के ही आचार्य चाणक्य थे जिन्होंने एक साधारण से बालक चंद्रगुप्त मौर्य को शिक्षा दे हिन्दुस्तान का सबसे बड़ा सम्राट बना दिया था। आज भी बिहार की धरती पर ऐसे महान शिक्षकों की कमी नहीं है जो लगातार सैकड़ों बच्चों के भविष्य सँवारने में लगे हुए हैं । उन्ही में से आनंद कुमार, अभयानंद और गुरु रहमान जैसे शिक्षक हैं जो लगातार बिहार का मान बढ़ा रहें हैं।

आनंद कुमार

शिक्षा के क्षेत्र में पटना के आनंद कुमार और उनकी संस्था ‘सुपर 30’ को कौन नहीं जानता। हर साल आईआईटी रिजल्ट्स के दौरान उनके ‘सुपर 30’ की चर्चा अखबारों में खूब सुर्खियाँ बटोरती हैं। आनंद कुमार अपने इस संस्था के जरिए गरीब मेधावी बच्चों के आईआईटी में पढ़ने के सपने को हकीकत में बदलते हैं। सन् 2002 में आनंद सर ने सुपर 30 की शुरुआत की और तीस बच्चों को नि:शुल्क आईआईटी की कोचिंग देना शुरु किया। पहले ही साल यानी 2003 की आईआईटी प्रवेश परीक्षाओं में सुपर 30 के 30 में से 18 बच्चों को सफलता हासिल हो गई। उसके बाद 2004 में 30 में से 22 बच्चे और 2005 में 26 बच्चों को सफलता मिली। इसीप्रकार सफलता का ग्राफ लगातार बढ़ता गया। सन् 2008 से 2010 तक सुपर 30 का रिजल्ट सौ प्रतिशत रहा।
आज आनंद कुमार राष्ट्रीय व अंतराष्ट्रीय मंचों को संबोधित करते हैं। उनके सुपर 30 की चर्चा विदेशों तक फैल चुकी है। कई विदेशी विद्वान उनका इंस्टीट्यूट देखने आते हैं और आनंद कुमार की कार्यशैली को समझने की कोशिश करते हैं। हाल ही में आनंद कुमार को विश्व के प्रतिष्ठित विश्विद्यालय हार्वर्ड ने अपने यहाँ लेक्चर के लिए बुलाया है। आज आनंद कुमार का नाम पूरी दुनिया जानती है और इसमें कोई शक नहीं कि आनंद कुमार बिहार का गौरव हैं।

 

अभयानंद

पढ़ाने का जुनून हो, कुछ अलग करने का हौसला हो तो वक्त की कमी तो बस बहाना है। आईजी अंकल के नाम से मशहूर बिहार के पूर्व डीजीपी अभयानंद को भी एक एेसा ही जुनून है- बच्चों को पढ़ाना और आईआईटी की तैयारी कराना। अभयानंद की संस्था रहमानी ‘सुपर 30’ देश में हर साल सैकड़ों गरीब मेधावी छात्रों का दाखिला आईआईटी में करवाती है। पिछले साल भी उनके द्वारा देश भर में संचालित रहमानी सुपर 30 से 270 बच्चों को आईआईटी की परीक्षा में उत्तीर्णता हासिल की थी। बिहार पुलिस में अपनी सेवा के समय से ही वह बच्चों को पढ़ा रहें हैं और उनका मार्गदर्शन कर रहें है। बच्चों के आईजी अंकल एडीजी हुए और डीजीपी होने के बाद कुछ वर्ष पहले रिटायर भी हो गए हैं मगर पढ़ाने और पढ़ने का सिलसिला आज भी लगातार जारी है।

 

गुरु रहमान

बिहार की राजधानी पटना प्रतियोगिता परीक्षा की तैयारी के लिए देश भर में प्रसिद्ध है। जहाँ प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी के लिए कोचिंग संस्थान लाखों की फीस वसूलते हैं, वहीं पटना के नया टोला में स्थित गुरू रहमान का ‘अदम्य अदिति गुरुकुल संस्थान’ है जो ग्यारह रुपया गुरु दक्षिणा लेकर छात्रों को दारोगा से लेकर आईएएस और आईपीएस बनाता है।
गुरुकुल की सबसे बड़ी खासियत ये है कि यहाँ अन्य कोचिंग संस्थानों की तरह फीस के नाम पर भारी-भरकम रकम की वसूली नहीं की जाती, बल्कि छात्र-छात्राओं से गुरु दक्षिणा के नाम पर महज 11 रुपये लिए जाते हैं। 11 से बढ़कर 21 या फिर 51 रुपये फीस देकर ही गुरुकुल से अब तक ना जाने कितने छात्र-छात्राओं ने भारतीय प्रशासनिक सेवा से लेकर डॉक्टर और इंजीनियरिंग के परीक्षाओं में सफलता हासिल की है। ऐसा नहीं है कि सिर्फ बिहार के छात्र ही यहाँ पढ़ते हैं, बल्कि गुरुकुल में झारखंड, उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, मध्य प्रदेश जैसे राज्यों से भी छात्र आकर गुरु रहमान से टिप्स लेते हैं। सन् 1994 में जब बिहार में चार हजार दरोगा की बहाली के लिए प्रतियोगिता परीक्षा आयोजित की गई थी तो उस परीक्षा में गुरुकुल से पढ़ाई करने वाले 1100 छात्रों ने सफलता हासिल की थी जो एक रिकॉड है। शिक्षा माफियाओं द्वारा बिज़नेस बन चुके शिक्षण व्यवस्था के बीच ‘गुरु रहमान’ का ‘गुरुकुल’ अपने आप में प्रेरणा हैं।

बिहार के सिर्फ आनंद कुमार नहीं बल्कि अभयानंद के सुपर 30 से भी 300 में से 270 छात्रों ने किया IIT JEE क्रैक..

पटना: सिर्फ पटना सुपर30 के संचालक आनंद कुमार ही नहीं बल्कि बिहार के पूर्व D. G. P अभयानंद भी हर साल गरीब मेधावीं बच्चों को आईआईटी में दाखिला करवाते है।  

 

पढाने का जुनून हो, कुछ अलग करने का जुनून हो तो वक्त की कमी तो बस बहाना है। आइजी अंकल के नाम से मशहूर बिहार के पूर्व डीजीपी अभयानंद को भी एक एेसा ही जुनून है- बच्चों को पढाना और आइआइटी की तैयारी कराना।

 

इस साल भी उनके द्वारा देश भर में संचालित रहमानी सुपर 30 से 270 बच्चों को आइआइटी की परीक्षा में उत्तीर्णता हासिल की है। वे कहते हैं जब बच्चों का रिजल्ट आता है तो उनको एसे खुशी महसूस होती है जैसे उनका खुद का रिजल्ट आया हो।

 

इस बार 270 बच्चों ने आइआइटी क्रैक किया है।

अभयानंद बताते हैं कि इस बार उनके रहमानी सुपर थर्टी और देश के बाहर सीएसआर के तहत चल रहे संस्थानों से 270 बच्चों ने आइआइटी क्रैक किया है। तीन सौ बच्चे इस कतार में थे। वह कहते हैं कि मेरी यह धारणा बन रही है कि अब हर समाज के लोग यह कोशिश कर रहे हैं बच्चे पढ़ें। उन्हें यह समझ में आ गया है कि यह सरकार के बूते की बात नहीं। समाज की मदद से ही आंकड़ा बढ़ रहा है। यह अच्छा है।

 

बिजी शिड्यूस से वक्त निकालकर प्रसिद्ध गणितज्ञ आनंद कुमार के सुपर-30 में फिजिक्स पढ़ाना शुरू किया। वहां बच्चे उन्हें आइजी अंकल कहते थे। एडीजी बनने के बाद भी बच्चे उन्हें इसी नाम से पुकारते थे।
उनके शिक्षक रहते सुपर-30 आइआइटी को रिकार्डतोड़ सफलता मिली। फिर कुछ कारणों से अभयानंद सुपर-30 से अलग हो गए और इसी साल आइजी अंकल के पढाने के जुनून के कारण ही रहमानी सुपर 30 की स्थापना हुई। इसके बच्चे हर साल आइआइटी में अपनी सफलता का परचम लहराते रहे हैं, इस बार भी रहमानी क्लासेज के 270 बच्चों ने आइआइटी क्रैक किया है। यह अभयानंद जी का ही कमाल है।
रिटायरमेंट के बाद और मेहनत की।
सुपर-30 से अलग होने के बाद उन्होंने मुस्लिम बच्चों को पढ़ाने की योजना बनाई। यहीं से जन्म हुआ रहमानी सुपर 30 का। वली रहमानी ने जगह उपलब्ध करायी इसीलिए इसका नाम रहमानी सुपर 30 पडा।  मुस्लिम बच्चों ने भी सफलता हासिल की। बच्चों के आइजी अंकल एडीजी हुए और डीजीपी होने के बाद कुछ वर्ष पहले रिटायर भी हो गए हैं मगर पढ़ाने और पढऩे का सिलसिला आज भी लगातार जारी है।

 

बिहार के लिए आनंद कुमार अभयानंद जैसे लोग गौरव है जो बार बार बिहार और बिहारी का नाम रौशन करते रहते है।

 

 

 

JEE Advance Result : बिहार के छात्रों ने फिर किया धमाल, पटना सुपर30 के 28 छात्रों ने मारी बाजी..

पटना: देश के प्रतिष्ठित इंजीनियरिंग संस्थान आईआईटी में दाखिले के लिए प्रवेश परीक्षा ज्वॉइंट एंट्रेंस एग्जामिनेशन (जेईई) एडवांस 2016 के नतीजे घोषित कर दिए गए हैं.  प्राप्त जानकारी के मुताबिक हर बार के तरह इस बार भी बिहारी छात्रों ने धमाल मचा दिया है।  

 

पटना के आनंद सुपर-30 में से 28 छात्रों ने सफलता हासिल की है तो वही ईशान तरुनेश बिहार और गुवाहाटी जोन के टॉपर बने हैंं. देशभर में ईशान को 33वीं रैंक मिली है. ईशान मुजफ्फरपुर के आईजी सुनील कुमार के पुत्र हैंं. इसके अलावा अश्विनी कुमार बिहार के सेकंंड टॉपर बने हैं. अश्विनी कुमार छपरा के एडीजे ओमप्रकाश के बेटे हैं.

 

साथ ही बिहार के पूर्व डीजीपी अभयानंद द्वारा देश भर में चलाए जा रे अभयानंद सुपर 30 से 270 छात्रों ने सफलता के झंडे गाडे है।  अभयानंद ने दावा किया है कि सुपर-30 के अलग-अलग केंद्रों के 338 स्टूडेंट्स जेईई एडवांस में श्‍ाामिल हुए थे, जिनमें से 270 स्टूडेंट ने सफलता हासिल की है.

स्टूडेंट की सफलता को लेकर सुपर-30 में खुशी का माहौल है. सभी ने एक-दूसरे को मिठाई और आम खिलाकर बधाई दी.

 

ज्ञात हो कि इस बार जेईई एडवांस 2016 परीक्षा आईआईटी गुवाहाटी द्वारा आयोजित की गई है और जेईई मेन क्वालीफाई करने के बाद दो लाख स्टूडेंट्स ने 22 मई को एडवांस का एग्जाम दिया था. आज रिजल्ट घोषित होने के बाद सफल उम्मीदवारों की ऑल इंडिया रैंक भी घोषित कर दी जाएंगी.

जेईई एडवांस्ड के जरिए ही छात्रों को देश की तमाम आईआईटी और आईएसएम (इंडियन स्कूल ऑफ माइन्स, धनबाद) के इंजीनियरिंग कोर्सेज में प्रवेश मिलेगा। इसके अलावा आईआईएसईआर, राजीव गांधी इंस्टीट्यूट ऑफ पेट्रोलियम टेक्नोलॉजी और इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ साइंस में भी आईआईटी एडवांस्ड के स्कोर से ही दाखिला मिलता है।

जयपुर के अमन बंसल (AIR – 1) ने परीक्षा में टॉप किया है। यमुना नगर के भावेश ढींगरा (AIR – 2) को दूसरा, जबकि जयपुर के ही कुणाल गोयल (AIR – 3) को तीसरा स्थान मिला है।