बिहार के इस जिले के थाने हो रहे कंप्यूटरीकृत, अब ऑनलाइन कर सकते है F.I.R

बिहार के इस जिले में एफआइआर अब ऑनलाइन दर्ज होगी। केस की स्थिति की जानकारी भी ई-मेल पर ली जा सकेगी।

डिजिटल होती देश और दुनिया के साथ-साथ अब बिहार के गया जिला के थानों को भी परंपरागत रूप से डिजिटल किया जा रहा है, कार्य पद्धति बदलने के लिए डिजिटल तकनीक से लैस करने की कवायद शुरू हो गई है।

सीसीटीएनएस (crime and criminal tracking network and system) केंद्र सरकार की महत्वपूर्ण योजना है, जिसके तहत थानों को हाई प्रोफाइल बनाते हुए एक-दूसरे से जोड़ा जा रहा है। इससे एफआईआर कहीं भी ट्रांसफर की जा सकेगी। कोई भी व्यक्ति अपने केस की जानकारी संबंधित थानाध्यक्ष से ई-मेल पर ले सकते हैं।

  • जाने कौन-कौन जुड़ेंगे सीसीटीएनएस से…

    आपके जानकारी हेतु बता दूं, इस योजना के तहत सिर्फ थाना और आम लोग ही नहीं, कई विभागों के अधिकारी भी जुड़ेंगे। इसके माध्यम से साइबर क्राइम कंट्रोल किया जाएगा। इस नई व्यवस्था में थानाध्यक्ष, आईओ, चिकित्सक व न्यायिक प्रक्रिया के लोग भी जुड़ेंगे। किसी भी थाना में प्राथमिकी दर्ज की जाती है तो उसके लिए निर्धारित समय सीमा के अंदर वह स्वत: न्यायालय पहुंच जाए, ऐसी व्यवस्था होगी। वैसे में पुलिस पदाधिकारियों को बार-बार न्यायालय भी नहीं जाना पडे़गा। जख्म प्रतिवेदन लेने के लिए बार-बार अस्पताल नहीं जाना होगा। चिकित्सक भी समय सीमा के अंदर जख्म प्रतिवेदन संबंधित थाना या न्यायालय को ई-मेल के जरिए भेज सकेंगे।

  • क्या-क्या मिलेगी सुविधा…

    सीसीटीएनएस के तहत जिले के सभी थानों को दो कंप्यूटर, सीपीयू, इंटरनेट व प्रिंटर आदि की सुविधा उपलब्ध कराई गई है। आधुनिक सुविधा के जरिए कोई भी अधिकारी फोन व वायरलेस पर सूचना देने की बजाय सीधे तौर पर ई-मेल के जरिए संबंधित थाना को निर्देश दे सकते हैं। साथ ही लंबित मामलों की जांच-पड़ताल की जा सकती है।

  • कौन करेंगे जांच…

    कोई भी ऑनलाइन एफआईआर दर्ज कराता है तो उससे संबंधित थाना प्रभारी उसकी जांच स्वयं करेंगे या फिर किसी पुलिस पदाधिकारी को स्पॉट पर भेजेंगे। घटना की वस्तुस्थिति से अवगत होंगे। उसके बाद उस पर प्राथमिकी दर्ज कर कांड संख्या ई-मेल के जरिए ही बताया जाएगी।

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