बिहारी गरीब हो सकते हैं लेकिन बेईमान नहीं…

यूं तो बिहारी के प्रतिभा की लोहा देख चुकी है लेकिन बिहारियों को बदनाम करने वाले को करारा जवाब दिया है, दिल्ली में अपना जीवन यापन करने वाले बिहारी ड्राइवर देवेन्द्र ने।दरअसल देवेंद्र दिल्ली में टैक्सी चलाते हैं।उसे अपनी गाङी में लगभग 8 लाख रुपये के सामान और कैश देखे, तब भी उनका जमीर जरा सा भी नहीं डोला और उन्होंने ईमानदारी की अद्भभुत मिसाल पेश करते हुए बैग दिल्ली एयरपोर्ट पर पुलिस अधिकारियों को जमा करा दिया।देवेन्द्र ने जो मिसाल कायम की है वो वाकई काबिले तारीफ है।

 देवेन्द्र को अपनी टैक्सी में एक बैग मिला।जो एक मुसाफि देवेन्द्र की टैक्सी में ही भूल गया। इस बैग में सोने के जेवरात, लैपटॉप, एक एप्पल का आईफोन, एक कैमरा और करीब 70 डॉलर की करेंसी थी। इन सभी की कुल कीमत 8 लाख रुपए थी।

देवेंद्र अपनी टैक्सी में सवार एक यात्री को सेंट्रल दिल्ली के पहाड़गंज इलाके में किसी होटल के पास छोड़ा। उसके बाद देवेंद्र कनॉट प्लेस की ओर चले गए।

जब वह बाद में अपनी गाड़ी की साफ-सफाई करने लगे तो उन्हें पीछे की सीट पर एक बैग दिखाई दिया। जब उन्होंने बैग खोला तो वह थोड़ा घबरा गए क्योंकि उसमें कई कीमती सामान थे।

इसके बाद देवेंद्र सीधा दिल्ली डोमेस्टिक एयरपोर्ट के रिसेप्शन पर जा पहुंचे। उन्होंने जो भी घटित हुआ उसकी जानकारी वहां मौजूद अधिकारियों को दी।

बैग की तलाशी लेने पर उस बैग में एक शादी का कार्ड मिला। कार्ड में लिखे गए फ़ोन नंबर से संपर्क कर बैग के मालिक का पता लगाया गया। जरूरी कार्रवाई के बाद बैग को मालिक के हवाले कर दिया गया।

डीसीपी संजय भाटिया ने उत्तम नगर निवासी टैक्सी ड्राइवर देवेंद्र को प्रोत्साहन के तौर पर 5000 रुपये का इनाम देने का प्रस्ताव पुलिस अफसरों को भेजा, जिसे मंजूर कर लिया गया।

स्मार्ट फोन इस्तेमाल नहीं करने वाले देवेन्द्र को जब उनकी कहानी डिजिटल मीडिया पर दिखाई गई तो उन्होंने बड़ी ही मासूमियत से पूछा कि वो गांव में अपने माता-पिता को ये कैसे दिखाएंगे।

 

 

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